मेरठ एसटीएफ के जांबाज इंस्पेक्टर सुनील कुमार आखिर जिंदगी की जंग हार गए। मंगलवार की रात को बदमाशों के साथ हुई मुठभेड़ में उन्होंने चार कुख्यात बदमाशों को अपनी 47 से मार गिराया था

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  1. रविन्द्र बंसल प्रधान संपादक / जन वाणी न्यूज़                    मेरठ। एसटीएफ के जांबाज इंस्पेक्टर सुनील कुमार आखिर जिंदगी की जंग हार गए। मंगलवार की रात को बदमाशों¤ के साथ हुई मुठभेड़ में उन्होंने चार कुख्यात बदमाशों को अपनी 47 से मार गिराया था। इस एनकाउंटर के दौरान उनके पेट में तीन गोलियां लगी थी।                                                                                                                                                                                        उन्हें गंभीर अवस्था में गुरुगांव के मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया था। सोमवार में मंगलवार के दरयानी रात को शामली में कुख्यात बदमाशों के साथ हुई मुठभेड़ में सुनील कुमार व उनकी टीम ने कग्गा गैंग के चार खतरनाक बदमाशों को मार गिराया था। जिम एक एक लाख का इनामी अरशद भी शामिल था मुठभेड़ के दौरान टीम का नेतृत्व इंस्पेक्टर सुनील कर रहे थे। इस दौरान बहादुर की मिसाल पेश कर सुनील कुमार ने बदमाशों को घर लिया था लगभग 40 मिनट तक बदमाशों और पुलिस के बीच हुई गोलीबारी में इंस्पेक्टर सुनील कुमार के पेट में तीन गोलियां लग गई। लेकिन घायल होने के बाद भी उन्होंने बदमाशों पर जमकर फायरिंग की उनकी टीम ने भी बदमाशों को चारों ओर से घेर लिया। और ब्रेजा कर में सवार सभी चारों बदमाशों को को ढेर कर दिया बदमाशों के पास भारी संख्या में हथियार थे। सुनील कुमार में उनकी टीम को यह अंदाजा नहीं था और वह बगैर बुलेट प्रूफ जैकेट पहने बदमाश कब पीछा करने निकल पड़े थे। बदमाशों ने अचानक फायरिंग कर दी थी। जिसमें इंस्पेक्टर सुनील कुमार के पेट में तीन गोलियां लग गई। लेकिन इस मुठभेड़ में शामिल चारों बदमाशों को एसटीएफ की टीम ने मार गिराया था।                                                                                                                                                                                                            लेकिन इस एनकाउंटर की कीमत एक जांबाज जिसके नाम का बदमाशों में भारी खौफ था ऐसे बहादुर इंस्पेक्टर को अपनी जान देकर चुकानी पड़ी। पेट में गोलियां लगने के बाद उन्हें गंभीर हालत में पहले करनाल के अस्पताल में ले जाया गया लेकिन उनकी हालत काफी नाजुक थी जिसको देखते हुए करनाल से गुरुगांव के मेदांता अस्पताल रेफर कर दिया गया। जहां उपचार के दौरान उनकी जान चली गई। एनकाउंटर में खतरनाक बदमाश अरशद, मनजीत उर्फ़ ढिल्ला ,सतीश व मनवीर मारे गए। जो पश्चिमी उत्तर प्रदेश में आतंक का पर्याय थे। अरशद मुकीम काला की मौत के बाद उसके गिरोह को संचालित कर रहा था । और यह कग्गा गैंग से भी जुड़े हुए थे। एसटीएफ टीम ने इन चार खतरनाक बदमाशों को मुठभेड़ में ढेर कर कग्गा गैंग की कमर तोड़ दी है। लेकिन इस एनकाउंटर की कीमत एक बहादुर अधिकारी की जान के रूप में चुकानी पड़ी यूपी पुलिस और एसटीएफ इस जांबाज वीर शहीद की शहादत को सदैव याद रखेंगी जांबाज शहीद को अंतिम सलूट।

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